Class 8 Hindi Sem 1 Chapter 5 Swadhyay (ધોરણ 8 હિન્દી સેમ 1 એકમ 5 અભ્યાસ અને સ્વાધ્યાય)

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Class 8 Hindi Sem 1 Chapter 5 Swadhyay
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Class 8 Hindi Sem 1 Chapter 5 Swadhyay. ધોરણ 8 સેમ 1 હિન્દી વિષયના એકમ 5 નું અભ્યાસ અને સ્વાધ્યાય વાંચી અને લખી શકશો. ધોરણ 8 હિન્દી સેમ 1 એકમ 5 અભ્યાસ અને સ્વાધ્યાય.

 कक्षा : 8

विषय : हिन्दी

एकम : 5. सवाल बालमन के, जवाब डॉ. कलाम के

सत्र : प्रथम

अभ्यास

प्रश्न 1. प्रश्नों के उत्तर दीजिए :

(1) यदि आप इन प्रश्नकर्ताओं में होते तो (डॉ. कलाम से) आप कौन-कौन-से प्रश्न पूछते?

उत्तर : यदि मैं इन प्रश्नकर्ताओं में होता तो (डॉ. कलाम से) निम्नलिखित पूछता :

(1) देश में सब संसाधन सुलभ होने पर भी अभी तक हम विकसित राष्ट्रों की श्रेणी में क्यों नहीं आए हैं? (2) हमारे देश में गरीब और अमीर के बीच की खाई बढ़ती क्यों जा रही है? (3) कहीं-कहीं बहुमंजिला मकान बन जाने पर अवैध बताया जाता है। जब उसका निर्माण हो रहा था तब क्या वह अवैध नहीं था? (4) विदेशी बैंकों में जमा काला धन भारत लाने में सरकार अक्षम क्यों है?

(2) डॉ. कलाम ने अपने बचपन की कौन-सी यादगार घटना सुनाई?

उत्तर : कलाम जब पाँचवीं कक्षा में थे, तब की एक घटना उन्हें याद है। उनके शिक्षक श्री शिवसुब्रह्मण्य अय्यर विद्यार्थियों को बता रहे थे कि कोई पक्षी कैसे उड़ता है। वे विद्यार्थियों को रामेश्वरम् के समुद्र तट पर ले गए और वहाँ उन्होंने विद्यार्थियों को उड़ने की क्रिया का जीवंत उदाहरण बताया। डॉ. कलाम पर इस घटना का गहरा असर पड़ा। इससे उन्हें विज्ञान पढ़ने की प्रेरणा मिली ।

(3) आपकी यादगार घटना बताइए ।

उत्तर : गर्मी की छुट्टियाँ थीं। मैं अपने गाँव गया हुआ था। गाँव के पास नदी थी। मेरा बड़ा भाई अच्छा तैराक था। मैं भी नदी में तैरना चाहता था, लेकिन डरता था। मेरा भाई मुझे नदीकिनारे ले गया और बातें करने लगा। इसी बीच उसने मुझे धक्का दिया और मैं नदी में जा गिरा। डूबने के डर से मेरे हाथ-पाँव चलने लगे और मैं किनारे तक आ गया। भाई ने कहा- डरते क्यों हो? इसी तरह पानी में हाथ-पैर हिलाते रहो। डरो मत, डूबोगे नहीं। डूबने लगोगे तो बचा लूँगा। बस फिर क्या था! मैं निडर होकर पानी में हाथ-पैर हिलाता रहा एवं इधर से उधर और उधर से इधर चक्कर लगाता रहा। उसी दिन से मुझे तैरना आ गया। बचपन की उस घटना को मैं कभी भूल नहीं सकता।

(4) अपना लक्ष्य प्राप्त करने के लिए आप क्या-क्या करते हैं?

उत्तर : आज हमारे देश में डॉक्टरों और इंजीनियरों की कमी नहीं है। कमी है अच्छे वैज्ञानिकों की । इसलिए एक महान वैज्ञानिक बनकर देश का नाम रोशन करना – यही मेरे जीवन का लक्ष्य है। इसे पाने के लिए मैं अपने पाठ्यक्रम की विज्ञान की पुस्तकें बड़े ध्यान से पढ़ता हूँ। विज्ञान की अन्य पुस्तकें भी स्कूल के पुस्तकालय से लाकर पढ़ता हूँ। मैं वैज्ञानिकों के जीवन पर लिखी पुस्तकें भी पढ़ता हूँ। घर पर मैं छोटे-छोटे प्रयोग भी करता हूँ।

(5) किसी को मुसीबत में देखकर आप क्या करते हैं?

उत्तर : किसी को मुसीबत में देखकर मैं यथाशक्ति उसकी मदद करता हूँ। तन-मन-धन से मैं उसकी सहायता करने से पीछे नहीं हटता। इसके लिए मैं अपने माता-पिता से कुछ माँगने में भी संकोच नहीं करता। मेरे मित्र इसमें मुझे सहयोग देते हैं।

प्रश्न 2. परिच्छेद को शुद्ध रूप से पढ़िए और सुंदर अक्षरों में लिखिए :

व्यायाम करते समय कुछ सावधानियाँ बरतनी चाहिए। प्रातःकाल शौचादि से निवृत्त होकर, खाली पेट व्यायाम करना चाहिए। व्यायाम के समय शरीर के सभी अंग प्रत्यंग प्रभावित होने चाहिए; अन्यथा अंगों की सुड़ौलता एवं शक्ति में असंतुलन आ जाता है। श्वास लेने और छोड़ने की प्रक्रिया व्यायाम के अनुसार ध्यानपूर्वक करनी चाहिए किन्तु यदि श्वास फूलने लगे तो तत्काल व्यायाम बन्द कर देना चाहिए। व्यायाम में नियमितता का होना अत्यंत आवश्यक है।

प्रश्न 3. बचपन में हमें किस भाषा को प्रमुखता देनी चाहिए? मातृभाषा को या अंग्रेजी को? क्यों?

उत्तर : बचपन में हमें मातृभाषा को महत्त्व देना चाहिए।

मातृभाषा माँ की भाषा है। माता की गोद में हम उसी में सोचना-विचारना सीखते हैं। सोचने-विचारने की भाषा ही हमारी अभिव्यक्ति की भाषा हो सकती है। मातृभाषा में हम अपने हृदय-मन के भावों को सरल और प्रभावी ढंग से प्रकट कर सकते हैं। इसलिए बचपन में हमें मातृभाषा को ही महत्त्व देना चाहिए।

अंग्रेजी विदेशी भाषा है। उसे पढ़ने-सीखने में बहुत प्रयत्न करना पड़ता है। उसमें प्रवीण होने पर भी अपने हृदय के भाव हम उसमें असरकारक ढंग से प्रकट नहीं कर सकते। इसलिए अंग्रेजी भाषा मातृभाषा का स्थान नहीं ले सकती।

प्रश्न 4. अनुमान लगाओ कि तुम 2020 में हो। अपने आसपास क्या देख रहे हो? अपने विचार प्रस्तुत कीजिए।

उत्तर : सन् 2020 में मैं देख रहा हूँ कि चारों ओर हरियाली है। पिछले वर्षों में वृक्षारोपण की प्रवृत्ति में तेजी आने से यह संभव हुआ है। मेरे सामने की सड़क पर हरे-भरे पेड़ फूलों से लदे हुए खड़े हैं। सड़क खूब चौड़ी और साफ सुथरी है। लोग चीजें खरीदने के लिए मॉल में जा रहे हैं। सड़कों पर रिक्शे कम हो गए हैं। कारों की संख्या बढ़ गई है। इनमें भी छोटी कारें ज्यादा हैं। पेट्रोल पंप बहुत व्यस्त है। फ्लायओवर पर वाहनों का रेला देखने में बहुत अच्छा लगता है। लड़कियाँ फर्राटे से दुपहिया वाहनों पर आ-जा रही हैं। नुक्कड़ पर कोई बेकार खड़ा हुआ नहीं दिखता । यहाँ दो होटल हैं। इस समय दोनों होटल खचाखच भरे हुए है। एक होटल में एक रोबोट बैरे का काम कर रहा है।

इस तरह मेरे चारों ओर का वातावरण चहलपहल से भरा हुआ है।

स्वाध्याय

प्रश्न 1. प्रश्नों के उत्तर दीजिए :

(1) पढ़े हुए से देखा हुआ ज्यादा याद रह जाता है। क्यों?

उत्तर : देखे हुए दृश्य का चित्र मस्तिष्क में ज्यों का त्यों अंकित हो जाता है। पढ़ने से केवल मन में काल्पनिक चित्र बनता है। कल्पना में वह सच्चाई नहीं होती जो यथार्थ में होती है। इसलिए पढ़े हुए से देखा हुआ देर तक याद रह जाता है।

(2) भाषा के विषय में डॉ. कलाम ने क्या बताया?

उत्तर : डॉ. कलाम ने माध्यमिक शिक्षा की पढ़ाई मातृभाषा में की थी। कॉलेज और आगे की शिक्षा में उनकी पढ़ाई का माध्यम अंग्रेजी भाषा थी । कलाम के विचार से कॉलेज की पढ़ाई भी मातृभाषा के माध्यम से होनी चाहिए। इसका कारण यह है कि विद्यार्थी अपनी मातृभाषा में ही सोचता है। इसलिए मातृभाषा में ही अपनी बात आसानी से प्रकट कर सकता है। फिर भी विश्व के दूसरे देशों से संपर्क कायम करने के लिए वे अंग्रेजी का ज्ञान आवश्यक मानते हैं।

(3) चिराग जैन ने डॉ. कलाम से क्या पूछा?

उत्तर : चिराग जैन ने पूछा था कि आज देश के सामने सबसे बड़ी चुनौती क्या है? डॉ. कलाम ने उत्तर दिया कि भारत को सन् 2020 तक एक विकसित राष्ट्र बनाना और देश के एक अरब से अधिक नागरिकों को सुखी बनाना ही आज देश के सामने सबसे बड़ी चुनौती है।

(4) राष्ट्र-विकास में महिलाओं का क्या योगदान है?

उत्तर : राष्ट्र-विकास में महिलाओं की भूमिका पुरुषों के समान ही है। शैक्षिक और औद्योगिक प्रवृत्तियों में आज महिलाएँ बढ़-चढ़कर हिस्सा ले रही हैं। सशस्त्र सेनाओं में भी पुरुषों के समान ही महिलाओं की भी नियुक्ति होती है। देश की तीनों सेनाओं में पर्याप्त महिला अधिकारी हैं। सेना के लिए विभिन्न उपकरण बनाने में भी महिलाएँ काम कर रही हैं। इस प्रकार राष्ट्र-विकास में महिलाओं का बहुमूल्य योगदान है।

(5) किसी भी देश के लिए सेना का क्या महत्त्व है?

उत्तर : सेना किसी भी देश का अनिवार्य अंग है। सेना शत्रुओं के आक्रमण से देश की रक्षा करती है। देश में कहीं विद्रोह होने पर सेना उसे दबाती है। देश में आतंकवादी घुस आए हों और पुलिस उनसे निपटने में सक्षम न हो तो सेना के जवान ही उनसे निपटते हैं। देश में कहीं भीषण बाढ़ या भूकंप आया हो तो सेना संकट में पड़े लोगों को सहायता करती है। इस प्रकार बाहरी या भीतरी संकट में सेना ही देशवासियों की रक्षा करती है।

प्रश्न 2. मुहावरों का अर्थ देकर वाक्य में प्रयोग कीजिए :

(1) जी-तोड़ मेहनत करना = बहुत मेहनत करना

वाक्य : यह धंधा जमाने के लिए पिताजी ने जी-तोड़ मेहनत की है।

(2) महारत हासिल करना = योग्यता प्राप्त करना

वाक्य : हमें हरेक मुसीबत को जीतने में आवश्यक महारत हासिल कर लेनी चाहिए।

प्रश्न 3. रूपरेखा के आधार पर कहानी लिखिए :

एक ब्राह्मण स्त्री – नेवला पालना – पानी भरने को बाहर जाना- लौटने पर नेवले का खून से लथपथ मुँह देखना – बच्चे की हत्या की शंका – नेवले पर घड़ा पटकना – बच्चे को जिंदा पाना पास ही एक मरा हुआ साँप पाना – पछतावा – सीख ।

उत्तर :

नासमझी और जल्दबाजी का नतीजा अथवा अविचार का परिणाम

किसी गाँव के बाहर स्वच्छ पानी का एक नाला बहता था । नाले से थोड़ी दूरी ब्राह्मणी पर ही एक घर था। उसमें एक छोटा-सा ब्राह्मण-परिवार रहता था – ब्राह्मण, और एक बच्चा। ब्राह्मणी ने एक नेवला पाल रखा था । नेवला जितना हट्टा-कट्टा था, उतना ही स्वामिभक्त भी था ।

एक दिन ब्राह्मणी नाले से पानी भरने के लिए बाहर गई। घर में उसका छोटा बच्चा अकेला था। वह पालने सो रहा था। ब्राह्मणी ने नेवले को समझाया था कि वह बच्चे का ध्यान रखे। उसी समय एक साँप घर में घुस आया । वह पालने में सोए हुए बच्चे की ओर जाने लगा। नेवला साँप को देखते ही तेजी से दौड़ा और साँप पर टूट पड़ा। साँप को मारकर वह घर से बाहर आया ।

उसी समय ब्राह्मणी पानी भरकर लौटी। उसने दूर से नेवले का खून से लथपथ मुँह देखा। उसने सोचा कि उसकी गैरहाजिरी में नेवले ने उसके बच्चे को मार डाला है। वह एकदम आपे से बाहर हो गई। उसने पानी से भरा घड़ा नेवले पर पटका । नेवला वहीं ढेर हो गया।

ब्राह्मणी जब घर के भीतर पहुँची तो उसने देखा कि उसका बच्चा चैन सो रहा था। उसके पालने के पास मरा हुआ साँप पड़ा था। यह देखकर ब्राह्मणी सारी बात समझ गई। अपने बालक को बचानेवाले नेवले को मार डालने का उसे बड़ा दुःख हुआ।

सीख : बिना सोचे-समझे कोई काम करने से पछताना पड़ता है।

प्रश्न 4. मातृभाषा में अनुवाद कीजिए :

हमारे लिए संसार में सबसे अधिक मूल्यवान हमारा शरीर है। शरीर के द्वारा ही हम सभी काम करते हैं। इसलिए शरीर का स्वस्थ रहना बहुत जरूरी है। शरीर को स्वस्थ रखने के लिए व्यायाम करना आवश्यक है। व्यायाम से शरीर मजबूत और सुडौल बनता है। अंग-अंग में स्फूर्ति आती है। शरीर में आलस्य नहीं रहता।

ઉત્તર :

આપણા માટે સંસારમાં સૌથી વધારે મૂલ્યવાન આપણું શરીર છે. શરીર દ્વારા જ આપણે બધાં કામ કરીએ છીએ. માટે શરીર સ્વસ્થ રહે તે ખૂબ જરૂરી છે. શરીરને સ્વસ્થ રાખવા માટે કસરત કરવી જરૂરી છે. કસરતથી શરીર મજબૂત અને સુડોળ બને છે. દરેક અંગમાં સ્ફૂર્તિ આવે છે. શરીરમાં આળસ રહેતી નથી.

भाषा-सज्जता

प्रश्न 1. निम्नलिखित वाक्यों में सर्वनाम शब्द छाँटिए तथा उनके प्रकार भी बताइए

(1) हम पाठशाला जाएँगे।

उत्तर : हम = पुरुषवाचक सर्वनाम

(2) यह मेरी किताब है।

उत्तर : यह = निश्चयवाचक सर्वनाम

(3) कोई आ रहा है।

उत्तर : कोई = अनिश्चयवाचक सर्वनाम

(4) तुम्हें क्या चाहिए?

उत्तर : तुम्हें = पुरुषवाचक सर्वनाम

(5) यह मीना है जिसने कल गीत गाया था।

उत्तर : यह, जिसने = संबंधवाचक सर्वनाम

(6) मैं स्वयं चला जाऊँगा।

उत्तर : मैं = पुरुषवाचक सर्वनाम

स्वयं = निजवाचक सर्वनाम

प्रश्न 2. कोष्ठक में दिए गए सर्वनाम शब्दों के उचित रूप से रिक्त स्थानों की पूर्ति कीजिए :

(1) यह कार्य …………….नहीं हो सकेगा। (मैं)

उत्तर : मुझसे

(2) पापा ने…………….बुलाया है। (तुम)

उत्तर : तुम्हें

(3) जो लड़की यहाँ खड़ी है, मैं…………..नहीं जानता। (वह)

उत्तर : उसे

(4) लगता है……………मेरी बात अच्छी नहीं लगती। (यह)

उत्तर : इसे

(5) यह काम………..लोगों ने किया? (कौन)

उत्तर : किन

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